Thursday, December 31, 2015
Wednesday, December 23, 2015
ये मेरे ब्लॉग की सौंवी पोस्ट है
हैलू............हैलू.................हैलूऊऊऊऊऊऊऊऊऊऊऊऊऊ!
मुझे आपसे एक काम है ...
मैं नानी के साथ घूमने जा रही हूँ .... और मेरे साथ माँ-पापा,बुआ,भिया,बड़ेमामानाना,बडीमामीनानी,छोटेमामानाना,छोटीमामीनानी,और उनके साथ आएंगे सुमि मौसी,निशि मौसी , सुमुख मामा और सुयश मामा(अपनी एक्ज़ाम छोड़कर) :-)
सब मिलकर खूब मस्ती करने वाले हैं,खूब फोटो खींचने वाले हैं .... :-)
अरे! ये तो बताया नहीं ..जा कहाँ रही हूँ .... तो बताउँ कि इन्दौर से खरगोन से गांधीनगर नानीमौसी और दीपक नानामौसाजी के घर मिलेंगे और वहाँ से उदयपुर .. .... और भी कहीं जा सकते हैं ....
ये सब लोग बहुत भागम-भाग प्लान बनालेते हैं ....
ये सब लोग बहुत भागम-भाग प्लान बनालेते हैं ....
तो हाँ खास बात जिसके लिए ये बताया कि घूमने जा रही हूँ ..... भूल गई
तो काम ये कि ये मेरे ब्लॉग की सौंवी पोस्ट है ...और मैं चाहती हूँ कि इस पोस्ट में आप मुझे उपहार दें ....यानि आशिर्वाद .... जिससे मैं बड़ी होकर वो सब कर सकूँ जो मैं करना चाहती हूँ ....... तो आप मेरे भविष्य के लिए मुझे आशीष देंगे न!
मेरी नानी घूमके आने के बाद नये साल में आपके आशीषों को इस पोस्ट पर सजा देंगी ...और जब मैं बड़ी होकर पढ़ना सीख जाऊँगी तो आपको धन्यवाद लिखूँगी .....
तो काम ये कि ये मेरे ब्लॉग की सौंवी पोस्ट है ...और मैं चाहती हूँ कि इस पोस्ट में आप मुझे उपहार दें ....यानि आशिर्वाद .... जिससे मैं बड़ी होकर वो सब कर सकूँ जो मैं करना चाहती हूँ ....... तो आप मेरे भविष्य के लिए मुझे आशीष देंगे न!
मेरी नानी घूमके आने के बाद नये साल में आपके आशीषों को इस पोस्ट पर सजा देंगी ...और जब मैं बड़ी होकर पढ़ना सीख जाऊँगी तो आपको धन्यवाद लिखूँगी .....
जब आप मेरा काम कर देंगे तभी आपकी ओर देखूँगी !
Wednesday, December 16, 2015
Monday, December 14, 2015
डांसिंग डॉल - मायरा
नानी के साथ नानी के स्कूल गई तो वार्षिकोत्सव में खूब डांस किया ...... मम्मा सिखाती है देखकर कैसे करना ...
आप भी देखिए
कैसे किया बताना भी
आप भी देखिए
कैसे किया बताना भी
मेरी प्यारी दोस्त
Sunday, November 1, 2015
रैम्प वाक
कल कान्हा भैया की स्कूल में डेढ़ साल से साढ़े तीन साल तक के बच्चों का फैशन शो था ......
माँ को बुखार आ गया था तो हम देर से पहुँचे ....फिर बाद में स्कूल वालों ने मौका दिया ....प्रतियोगिता से बाहर .....मगर मुझे स्टेज पर आने दिया .....
पहले मैंने पापा को पोज़ दिया फोटो के लिए ..
फिर माँ ने मुझे जरूरी इंस्ट्रक्शन दिए ...
मैंने कर लिया....
ठीक किया न !!!
और ये बताना तो भूल ही गई कि मैं सारे बच्चों में सबसे कम उम्र की थी ॥यानि एक साल छ : महीने .... और कुछ दिन ...
Thursday, October 22, 2015
पारिवारिक मिलन
आओ सब पास आ जाओ
और ऐसे अब त्यौहार मनाओ!
इंदौर-खरगोन-पूना-गांधीनगर........हम सब एक है ......
हम सब मिले मेरे बुलाने पर बंगलौर से वत्सल मामा और नानी ,खरगोन से मुन्ना मामा नाना -नानी ,पूना से जीतू मामा नाना-नानी , चिंकी मौसी ,सुमि मौसी और सुमुख मोटू मामा ....,इंदौर से ही उर्वशी मामी नानी,और सुहानी मौसी ,और गांधीनगर से निशी मौसी ....
नानी को देख कर मुझे बहुत रोना आया ...मुझे तो चेट बॉक्स की खिड़की से ही उनके पास जाना था ...... इसलिए थोड़ी देर के बाद उनको छुप जाना पड़ा .... :-)
और ऐसे अब त्यौहार मनाओ!
इंदौर-खरगोन-पूना-गांधीनगर........हम सब एक है ......
हम सब मिले मेरे बुलाने पर बंगलौर से वत्सल मामा और नानी ,खरगोन से मुन्ना मामा नाना -नानी ,पूना से जीतू मामा नाना-नानी , चिंकी मौसी ,सुमि मौसी और सुमुख मोटू मामा ....,इंदौर से ही उर्वशी मामी नानी,और सुहानी मौसी ,और गांधीनगर से निशी मौसी ....
नानी को देख कर मुझे बहुत रोना आया ...मुझे तो चेट बॉक्स की खिड़की से ही उनके पास जाना था ...... इसलिए थोड़ी देर के बाद उनको छुप जाना पड़ा .... :-)
Friday, September 18, 2015
Sunday, August 30, 2015
Tuesday, August 25, 2015
वीर पोस का त्यौहार
वीर पोस का त्यौहार ...माँ ने बताया की श्रावण पूर्णिमा के पहले वाले रविवार को भाई अपनी बहनों को राखी बांधने घर आने का न्यौता देने जाते हैं, बहने टीका लगाकर भैया की आरती उतारती है,खाना खिलाती है.....और भाई 5 पोस गेहूं उसके आँचल में देता है......
मैंने पहले माँ और मामा को देखा फिर माँ से सीखा ......
और भैया के साथ मिठाई भी खाई .....
मैंने पहले माँ और मामा को देखा फिर माँ से सीखा ......
और भैया के साथ मिठाई भी खाई .....
Thursday, August 20, 2015
ओए! टिंगू ..यार बहुत याद आती है तू ...
तेरा हँसना,तेरा रोना
वो पेट पर बैठकर गाना गाना
क्या-क्या गिनाउँ
क्या-क्या बताउँ
वो पेट पर बैठकर गाना गाना
क्या-क्या गिनाउँ
क्या-क्या बताउँ
तेरी हर बात के साथ बहुत याद आती है तू
चूँ-चूँ और गाय की बोली में बतियाना
नन्ना से नानीईईई कहकर बुलाना
जिद्दी कि बालकनी में ही
खाना खिलाउँ
नन्ना से नानीईईई कहकर बुलाना
जिद्दी कि बालकनी में ही
खाना खिलाउँ
तेरी हर बात के साथ बहुत याद आती है तू
मम्मा के जैसे ही तैयार होना
पापा के आते ही गोदी चढ़ जाना
ऊँगली छोड़ दौडे़ तू
जब मैं घुमाउँ
तेरी हर बात के साथ बहुत याद आती है तू
Tuesday, August 18, 2015
Sunday, August 2, 2015
Saturday, August 1, 2015
मैं वही ...अनन्तकाल तक..
...
माखन चाहे बदल जाए ....
मुख लपटायो वाला भाव नहीं बदल सकता ....
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो
लपट झपट निपटायो
तोको कबी न खाने देहौं
तू भी सदा पिघलायो ....
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो
तोरी ममता का कहूँ मैया
तू अपनो खानो भुलायो
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो
पापा ने जब गप्पू पुकारो
फट से वाके देखन लागो
अरू पापा भी मुसकायो
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो.....
माखन चाहे बदल जाए ....
मुख लपटायो वाला भाव नहीं बदल सकता ....
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो
लपट झपट निपटायो
तोको कबी न खाने देहौं
तू भी सदा पिघलायो ....
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो
तोरी ममता का कहूँ मैया
तू अपनो खानो भुलायो
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो
पापा ने जब गप्पू पुकारो
फट से वाके देखन लागो
अरू पापा भी मुसकायो
मैया मोरी मैं जब कुल्फी खायो.....